बहुत से जंतु उनके शरीर के किसी एक भाग को अधिक प्राथमिकता देते हैं लेकिन दाएं या बांए हाथ का उपयोग करने की प्रवृत्ति हर प्राणी में अलग-अलग होती है. 10 में से 7 चिंपांजी राइट-हैंडेड होते हैं जबकि लगभग सारे कंगारू लेफ़्ट-हैंडेड होते हैं. लगभग सारी नर बिल्लियां लेफ़्ट-हैंडेड जबकि लगभग सारी मादा बिल्लियां राइट-हैंडेड होती हैं. मनुष्यों में अन्य सारे जंतुओं की अपेक्षा दांए हाथ का प्रयोग सर्वाधिक देखा जाता है और मानव जनसंख्या के केवल 10 प्रतिशत व्यक्ति ही लेफ़्ट-हैंडेड होते हैं.
ऐसा होने का कारण यह है कि मनुष्य औजारों का प्रयोग करनेवाली प्रजाति है और बहुत सामाजिक भी है. पत्थरों के बनाए सबसे पुराने औजार लगभग 20 लाख वर्ष पुराने हैं लेकिन उनमें दांए या बांए हाथ के प्रयोग का लक्षण स्पष्ट दिखाई नहीं देता. लेकिन यह लक्षण तब महत्वपूर्ण हो जाता है जब हमें दूसरों के औजारों का उपयोग करने की आवश्यकता पड़ने लगती है. यही कारण है कि लगभग 15 लाख वर्ष पुराने औजारों में हमें दांए-बांए का भेद दिखने लगता है. यह पता लगाना कठिन है कि क्यों राइट-हैंडेड व्यक्तियों की संख्या बढ़ती गई लेकिन इसका संबंध हमारे मस्तिष्क के यांत्रिक नियंत्रण करनेवाले भाग के विकास से हो सकता है.
एक थ्योरी के अनुसार बांए हाथ का प्रयोग करने की प्रवृत्ति विलुप्त इसलिए नहीं हुई क्योंकि यह रणकौशल में बहुत अधिक काम आती है क्योंकि यह कम व्यक्तियों में होती है. बांए हाथ का प्रमुखता से काम करनेवाले व्यक्ति कुछ ऐसे काम कर सकते हैं जो अप्रत्याशित होते हैं. खेलकूद के क्षेत्र में हम इसे प्रमुखता से देखते हैं जहां टेनिस जैसे खेलों में लेफ़्ट-हैंडेड खिलाड़ियों की संख्या जनसंख्या के औसत से कहीं ज्यादा है.
वैज्ञानिकों का मानना है कि लेफ़्ट-हैंडेड होने में हमारे जीन्स (genes) और पर्यावरण का बहुत महत्व है. पुरुषों में लेफ़्ट-हैंडेड होना महिलाओं की अपेक्षा 50 प्रतिशत अधिक है. जुड़वां बच्चों में लेफ़्ट-हैंडेड होने की संभावना 17 प्रतिशत है जो कि औसत से कहीं अधिक है.
मस्तिष्क के प्रभुत्व की भी इस प्रवृत्ति में अहम भूमिका है. अधिकांश लोग राइट-हैंडेड हैं और उनके मस्तिष्क का बांया भाग भाषा को नियंत्रित करता है जबकि लेफ़्ट-हैंडेड लोगों में यह बात बिल्कुल विपरीत है. लेकिन यह भी देखा गया है कि कुछ लेफ़्ट-हैंडेड लोगों में बांया भाग भाषा को नियंत्रित करता है और कुछ में दोनों भाग. इस मामले में आनुवांशिक आधार बहुत जटिल है. यदि माता-पिता दोनों लेफ़्ट-हैंडेड हों तो भी उनके बच्चे के लेफ़्ट-हैंडेड होने की संभावना केवल 26 प्रतिशत ही होती है.
शिशु के रुप में आपके विकसित होने का भी आपके लेफ़्ट-हैंडेड होने या न होने से संबंध है. यह गर्भावस्था में टेस्टोस्टेरोन (testosterone) या एस्टेरोजन (oestrogen) हार्मोन के स्तर पर भी निर्भर करता है और वस्तुओं को पड़ने या फेंकने के सबसे पहले अनुभव भी लेफ़्ट या राइट हैंड के प्रयोग का निर्धारण कर सकते हैं. कुछ बच्चों के दांए हाथ में लगी चोट भी उन्हें लेफ़्ट-हैंडेड बना सकती है.
इस बात के कोई प्रमाण नहीं हैं कि लेफ़्ट-हैंडेड लोगों में बेहतर निर्णय लेने की शक्ति या अधिक रचनात्मक कौशल होता है या वे बाकी लोगों से विशिष्ट या अधिक बुद्धिमान होते हैं. (featured image)
I think right handed have more quality than lifty people
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