मान लें कि पृथ्वी पर कब्जा करने की इच्छा रखनेवाले एलियंस के पास पर्याप्त समय नहीं है और वे संख्या में हमसे बहुत कम हैं. ऐसी स्थिति में उनके सामने कौन से विकल्प होंगे:
- वे विश्व के सबसे बड़े तेल भंडारों और रिफ़ाइनीज़ पर हमला कर देंगे. तेल नहीं मिलने की स्थिति में दुनिया में हाहाकार मच जाएगा. हमारी सारी मशीनें, वाहन और हथियार भी जवाबी हमला करने की स्थिति में नहीं होंगे. इसके बाद एलियंस को व्यवस्थित आक्रमण करके पृथ्वी को जीतने में कोई कठिनाई नहीं होगी.
- एलियंस ऐसे किसी क्षुद्रग्रह या बड़े उल्का पिंड को पृथ्वी की तरफ डाइवर्ट कर सकते हैं जो टकराने पर पृथ्वी से बड़े पैमाने पर जीवन का खात्मा कर दे. इस त्रासदी के बाद जो बचे-खुचे मनुष्य होंगे उन्हें वे आमने-सामने की लड़ाई में हरा देंगे.
- वे अपने अंतरिक्ष यान या किसी उपग्रह को पृथ्वी की कक्षा में स्थापित करके न्यूट्रॉन्स की बौछार कर सकते हैं. इससे पृथ्वी पर रेडिएशन फैल जाएगा जिससे कोई भी बच नहीं पाएगा.
- एलियंस कोई ऐसा प्राणघातक रोग फैला सकते हैं जिसकी काट मनुष्य नहीं निकाल पाएं. ऐसा रोग सारी आबादी में गुपचुप फैलने के बाद ही अपने लक्षण दिखाएगा. इससे पहले कि हम इसे पहचान सकेंगे, एक बहुत बड़ी आबादी इसकी चपेट में आकर खत्म हो चुकेगी.
- एलियंस पृथ्वी को अपने अनुकूल बनाने के लिए सैंकड़ों जगहों पर मशीने उतारकर टैराफॉर्मिंग कर सकते हैं. इसके परिणामस्वरूप हमारा पर्यावरण तेजी से बदलने लगेगा और मनुष्यों का जीवन कठिन होता जाएगा. मनुष्यों की सेनाएं सारी मशीनों को नष्ट नहीं कर पाएंगी और जवाबी हमले में मारी जाएंगी.
और यदि एलियंस के पास समय-ही-समय होगा तो वे यह कर सकते हैं:
- वो कोई ऐसा रोग हमारे बीच फैला सकते हैं जो संतानउत्पत्ति में बाधक हो. इसके बाद वे 50 से 75 साल तक प्रतीक्षा करेंगे. इस बीच पृथ्वी मनुष्यों से खाली होती जाएगी और यहां बूढ़े लोग ही बचेंगे. जब दुनिया में एक भी मनुष्य नहीं बचेगा तो वे यहां चैन से रहेंगे.
- वे पर्यावरण में चोरी-छिपे ऐसा बदलाव लाएंगे कि कुछ दशकों में ही पृथ्वी पर रहना कठिन हो जाएगा. हो सकता है कि ऐसे बदलावों का उनपर कोई प्रभाव नहीं पड़े. इसके परिणामस्वरूप उन्हें अपने लिए टैराफॉर्मिंग भी नहीं करनी पड़ेगी. कुछ समय में ही पृथ्वी का वातावरण उनके पैतृक ग्रह जैसा हो जाएगा.
- वे पृथ्वी पर ऐसा रोग फैला सकते हैं कि मनुष्यों के लिए कुछ खास तरह के प्रोटीन और एंजाइम्स का पाचन कठिन या असंभव हो जाए. इसके लिए वे हमारे भोजन में भी व्यापक जेनेटिक बदलाव कर सकते हैं. उनका प्रयास हमेशा यही रहेगा कि इस प्रकार के बदलाव से केवल मनुष्य ही प्रभावित हों क्योंकि केवल वे ही उनका प्रतिरोध कर सकते हैं.
- वे बहुत सारे मनुष्यों में ऐसा म्यूटेशन कर सकते हैं जो उन्हें पागल कर दे या हिंसक बना दे. ऐसा होने पर मनुष्यों का मनुष्यों से ही युद्ध होने लगेगा. यह एक तरह का प्रॉक्सी युद्ध होगा जिसमें मनुष्यों की बहत बड़ी संख्या उनके ही विरुद्ध हो जाएगी. इस युद्ध के परिणामस्वरूप जब मनुष्यों की संख्या बहुत कम रह जाएगी तो एलियंस का काम आसान हो जाएगा.
- हो सकता है कि एलियंस पृथ्वी पर मनुष्यों के हितैषी और सहयोगी बनकर आएं. फिर वे हमें ऐसी तकनीक व क्षमताएं दें जो हमारी समझ और हैसियत के बाहर की हों और हम उनका दुरुपयोग करने लगें. हो सकता है कि एलियंस मनुष्यों के एक वर्ग को दूसरे वर्ग से लड़ाएं या लड़ाई में किसी एक पक्ष का साथ दें. यह तय है कि इस लड़ाई में उनके पक्ष का पलड़ा हमेशा भारी होगा. हो सकता है कि वे मनुष्यों के गुटों को एक-दूसरे से लड़ते हुए दूर से शांतिपूर्वक देखें. यह सिनेरियो वाकई बहुत दिलचस्प होगा.
ऊपर बताए गई दशाओं में एलियंस को पृथ्वी पर कब्जा करने में न्यूनतम एक वर्ष से अधिकतम 50 वर्ष तक लग सकते हैं. यदि उनके पास प्रकाश की गति या उससे भी अधिक गति या वर्महोल के माध्यम से यात्रा करने की क्षमता हो तो हमारे 50 वर्ष उनके लिए महज कुछ मिनट या दिन ही रह जाएंगे. (image credit)